द्विविम तरल-प्रवाह के वर्णन के लिए प्रयुक्त एक लांबिक वक्र-रेखीय निरदेशा-तंत्र। इसका एक अक्ष वेग सदिश की दिशा में और दूसरा इस वेग की लांबिक दिशा में होता है। त्रिविम प्रवाह में तीसरा अक्ष द्वि-अभिलंब की दिशा में लेते हैं। वायुमंडलीय गतिविज्ञान की समस्याओं में द्रवगतिकी के लाग्राजियन तंत्रों में इस प्रकार का निर्देश-तंत्र विशेष रूप से सुविधाजनक है।
अन्य स्रोतों से
बाहरी कड़ियाँ
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विकिपीडिया से (Meaning from Wikipedia)
वेबस्टर शब्दकोश ( Meaning With Webster's Online Dictionary )
हिन्दी में -
शब्द रोमन में
संदर्भ
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