श्रीरंगम यह भारत के तमिलनाडु राज्य के त्रिरुच्चिराप्पल्लि जिले का नगर है यह कावेरी की शाखाओं और कोल्लिटम के मध्य एक द्वीप पर स्थित है। मद्रास और त्रिरुच्चिराप्पल्लि नगर को जोड़नेवाली सीधी सड़क यहाँ से जाती है। यहाँ रेलवे स्टेशन भी है। नगर मुख्यत: धार्मिक नगर है। यहाँ का विष्णुमंदिर अपनी विशालता, वास्तु और मूर्तिकला के लिए प्रसिद्ध है। नगर के समीप ही जंबुकेश्वरम नामक अन्य प्रसिद्ध मंदिर है। (प्रतिमा वर्मा)
इतिहास- भगवान् राम और श्री बलदेव इस स्थान पर पधारे थे। विख्यात दार्शनिक स्वामी रामानुजाचार्य ने श्रीरंगम में रहकर अपने मत का प्रचार किया था, और यहीं उनकी मृत्यु हुई।
यहाँ के विशाल श्रीरंगम मंदिर (2,900 फुट लंबे, और 2,500 फुट चौड़े) का निर्माण 17वीं, 18वीं शताब्दी में हुआ। दूसरा मंदिर जंबुकेश्वरम का है। शिल्प और मनोज्ञता में इसका स्थान भी विशिष्ट है।
इतिहास- भगवान् राम और श्री बलदेव इस स्थान पर पधारे थे। विख्यात दार्शनिक स्वामी रामानुजाचार्य ने श्रीरंगम में रहकर अपने मत का प्रचार किया था, और यहीं उनकी मृत्यु हुई।
यहाँ के विशाल श्रीरंगम मंदिर (2,900 फुट लंबे, और 2,500 फुट चौड़े) का निर्माण 17वीं, 18वीं शताब्दी में हुआ। दूसरा मंदिर जंबुकेश्वरम का है। शिल्प और मनोज्ञता में इसका स्थान भी विशिष्ट है।
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संदर्भ
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बाहरी कड़ियाँ
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