सिंध नदी के किनारे-किनारे सोनमर्ग अपनी सुंदर झीलों के लिए प्रसिद्ध है। विसंसर-किसंसर नामक बेहद सुंदर झील में बर्फ के नन्हें-नन्हें कण तैरते हुए बड़े लुभावने लगते हैं। यह झीलें करीब 1.6 कि.मी. लम्बी हैं और इनमें परस्पर दूरी लगभग 2.4 कि.मी. है।
सोनमर्ग से निचीनई दर्रे के लिए सीधी बर्फ जमी ढलानों के पार करते ही विसंसर झील झिलमिलाने लगती है। निकट ही किसंसर झील भी मन लुभा लेती है। इन दोनों झीलों के पार करते ही आगे आती है गंगाबल जो हरमुख पहाड़ की तलहटी में स्थित है। हिन्दुओं की इस तीर्थस्थली झील को 'हरमुख गंगा' भी कहा जाता है। इस झील का नैसर्गिक सौन्दर्य अपने में अद्भुत् है। इससे आगे ही गडसर झील है, यह भी बर्फ से ढकी रहती है। इसमें बर्फ की ट्राउट मछलियां भी पाई जाती हैं।
सोनमर्ग से निचीनई दर्रे के लिए सीधी बर्फ जमी ढलानों के पार करते ही विसंसर झील झिलमिलाने लगती है। निकट ही किसंसर झील भी मन लुभा लेती है। इन दोनों झीलों के पार करते ही आगे आती है गंगाबल जो हरमुख पहाड़ की तलहटी में स्थित है। हिन्दुओं की इस तीर्थस्थली झील को 'हरमुख गंगा' भी कहा जाता है। इस झील का नैसर्गिक सौन्दर्य अपने में अद्भुत् है। इससे आगे ही गडसर झील है, यह भी बर्फ से ढकी रहती है। इसमें बर्फ की ट्राउट मछलियां भी पाई जाती हैं।
Hindi Title
विसंसर व किसंसर तथा गडसर झील
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