पछिवाँ हवा ओसावै जोई

Submitted by Hindi on Wed, 03/24/2010 - 09:01
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घाघ और भड्डरी

पछिवाँ हवा ओसावै जोई।
घाघ कहै घुन कबहुँ न होई।।


भावार्थ- यदि पछुवा हवा में अनाज को ओसाया जाय तो घाघ के अनुसार उसमें कभी भी घुन नहीं लगेगा।