रिलायंस एनर्जी के कोयला आधारित दहानु ताप विद्युत स्टेशन (डीटीपीएस)से मुंबई में बिजली की आपूर्ति की जाती है। दहानु अरब सागर से लगा हुआ आदिवासी बहुल क्षेत्र है। 185 गांवों वाले इस इलाके की आबादी ३ लाख से अधिक है। इस इलाके में बारिश खूब होती है लेकिन उसे इकट्ठा करने की सुविधाओं की कमी है। समुद्र तटीय इलाका होने के कारण यहां के लोग खारे पानी से जुड़ी हुई समस्याओं से भी जूझते रहते हैं। कंपनी ने रोटरी क्लब, द लायंस क्लब, स्थानीय छात्रों और अपने कर्मचारियों की मदद से पानी इकटठा करने के लिए बांध बनाने, बारिश के पानी के संरक्षण और पेय जल मुहैया कराने जैसे कई कदम उठाए। कंपनी ने बांध बनाते समय भवन निर्माण सामग्री के रूप में बिजलीघर से निकलने वाले नुकसानदायक उत्पाद, फ्लाईऐश का ३०% इस्तेमाल किया। कंपनी के इन प्रयासों से भूमिगत जल का स्तर बढ़ने के साथ-साथ इलाके में हरियाली भी बढ़ी। इसके साथ ही साल भर पानी मिलने लगा और समुद्र से खारे पानी का रिसाव भी बंद हुआ।
रिलायंस एनर्जी, दहानु, महाराष्ट्र; समुदाय आधारित जल संरक्षण प्रबंधन
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