सावन सुक्ला सत्तमी

Submitted by Hindi on Sat, 03/20/2010 - 15:06
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घाघ और भड्डरी

सावन सुक्ला सत्तमी, जो गरजै अधिरात।
बरसे तो सूखा पड़े, नाहीं समो सुकाल।।


भावार्थ- सावन शुक्ल सप्तमी को यदि आधी रात में बादल गरज कर बरसें तो सूखा पड़ेगा, नहीं तो समय अच्छा बीतेगा।