ग्वालियर /झांसी/ मध्य प्रदेश- बुन्देलखण्ड: मध्य प्रदेश शासन द्वारा बलराम तालाब योजनांतर्गत अप्रैल 2008 से किसानों को अधिकतम 80 हजार रूपये का अनुदान दिया जायेगा। पूर्व में यह राशि 50 हजार रुपये निर्धारित थी। अपर्याप्त वर्षा एवं भूजल के अनियंत्रित दोहन से प्रदेश में भूजल स्तर में काफी गिरावट आई है। गिरते भूजल को रोकने और कृषि के समग्र विकास के लिए सतही तथा भूमिगत जल की उपलब्धता को समृध्द करने तथा किसानों को अपने खेत में तालाब खुदवाने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है।
किसान कल्याण तथा कृषि विकास विभाग द्वारा वर्ष 2007-08 से यह योजना प्रारंभ की गई है। इस योजनांतर्गत मध्य प्रदेश के सभी 48 जिलों के समस्त वर्ग के कृषकों को लाभान्वित किया जा रहा है। वर्ष 2007-08 में इस योजना में लागत 25 प्रतिशत या अधिकतम 50 हजार रूपये का अनुदान दिए जाने का प्रावधान रखा गया था। इसे बढ़ाकर अधिकतम अस्सी हजार कर दिया गया है। इस योजना के लिए शासन ने तय किया था कि अगर कोई हितग्राही अपने खेत में दो लाख रुपए की लागत से तालाब बनवाना चाहता है तो उसे शासन स्तर से 80 हजार रुपए की सहायता दी जाएगी।
शिवपुरी: इस साल 51 बलराम तालाब बनाने का लक्ष्य है, लेकिन अभी तक एक भी तालाब का काम शुरू नहीं हुआ है। योजना के लिए 32 लाख की राशि एक माह पूर्व ही जिले में आई है। योजना के तहत गत वर्ष अवश्य कुछ काम हुआ। बीते साल 17 बलराम तालाब बनाने का लक्ष्य था, जिसमें से 11 तालाब पूर्ण हो चुके हैं और इन कार्यो पर लगभग 5 लाख 22 हजार रुपए खर्च हुए हैं।
कैसे मिलेगा तालाब के लिए अनुदान
योजना के अंतर्गत पचास फीसदी कार्य पाए जाने पर प्रथम किश्त जारी करने की अनुशंसा की जाएगी। प्रथम किश्त के भुगतान के पश्चात तीन माह में कार्य पूरा कराना जरूरी होगा। शतप्रतिशत कार्य पूरा होने पर द्वितीय अंतिम किश्त जारी की जाएगी। ऋण की प्रथम किश्त के भुगतान के साथ ही कृषक को देय अनुदान की पचास प्रतिशत राशि बैंक को उपलब्ध कराई जाएगी। शेष पचास प्रतिशत अनुदान राशि दूसरी किश्त के भुगतान के बाद बैंक में जमा कराई जाएगी।
यूं लौटाई जाएगी ऋण की राशि
ऋण की अदायगी ऋण प्राप्ति के दो वर्ष बाद शुरू होगी। नियमानुसार सात वर्ष के भीतर ऋण राशि की पूर्ण अदायगी करनी होगी। ऋण राशि में से अनुदान की राशि को घटाने के बाद शेष राशि पर ब्याज की गणना की जाएगी और उसी के अनुसार किश्तों का निर्धारण किया जाएगा।
जनपद से स्वीकृत होंगे अब बलराम योजना के प्रकरण
राज्य शासन ने पूर्व में बलराम तालाब योजना के प्रकरणों की स्वीकृति के लिए कृषि विभाग को तय किया था लेकिन अब जनपद निकायों को इसकी जिम्मेदारी सौंपी है। नए आदेश के तहत तकनीकी स्वीकृति अभी भी कृषि विभाग द्वारा जारी की जाएगी, वित्तीय स्वीकृति जिला पंचायत के स्तर पर जारी की जाएगी। बाद में इस प्रकरण को अंतिम स्वीकृति के लिए जनपद की कृषि स्थायी समिति के अध्यक्ष के पास भेजा जाएगा। बताया जाता है कि नए आदेश के बाद कृषि विभाग द्वारा सारे प्रकरण जिला पंचायत की ओर से भेजे जा रहे हैं।
साभार - भास्कर