रोहताश शर्मा/March 06, 09/ भास्कर न्यूज
कैथल. गांवों में बेकार पड़े तालाबों के दिन फिरने वाले हैं। कमांड एरिया डेवलपमेंट अथॉरिटी (सीएडीए) प्रदेश में 1000 तालाबों की खुदाई करेगा। सरकार यह कवायद भू-जल स्तर ऊपर उठाने के लिए कर रही है। परियोजना के पहले चरण पर 50 करोड़ खर्च होंगे। प्रदेश में ऐसे तालाब बहुतायत हैं जो प्रयोग में नहीं हैं। इनमें गंदा पानी डाला जा रहा है।
कुछ तालाबों को पाट कर लोगों ने इस पर कब्जा कर लिया है। नतीजा यह होता है कि बरसाती पानी व्यर्थ नालों में बह जाते हैं। ऐसे गांवों में पशुओं के लिए पीने के पानी की भी समस्या है। ऐसे हालात में तालाबों में पानी साल भर रहे इसके लिए सरकार ने इनकी खुदाई की योजना बनाई है।
कुछ नए, कुछ पुराने: पहले चरण में प्रदेश में 1000 तालाब खोदे जाएंगे। एक तालाब की खुदाई पर 10 लाख रुपए खर्च होंगे। योजना के तहत नए तालाब भी खोदे जाएंगे।
दो तरह के तालाब: प्रत्येक गांव में दो तरह के तालाब होंगे। एक में गंदा पानी डाला जाएगा, जबकि दूसरे में बरसाती व नहरी पानी डालने की व्यवस्था होगी। योजना के पहले चरण में कैथल में 50 तालाब खोदे जाएंगे।
साभार - भास्कर न्यूज
कैथल. गांवों में बेकार पड़े तालाबों के दिन फिरने वाले हैं। कमांड एरिया डेवलपमेंट अथॉरिटी (सीएडीए) प्रदेश में 1000 तालाबों की खुदाई करेगा। सरकार यह कवायद भू-जल स्तर ऊपर उठाने के लिए कर रही है। परियोजना के पहले चरण पर 50 करोड़ खर्च होंगे। प्रदेश में ऐसे तालाब बहुतायत हैं जो प्रयोग में नहीं हैं। इनमें गंदा पानी डाला जा रहा है।
कुछ तालाबों को पाट कर लोगों ने इस पर कब्जा कर लिया है। नतीजा यह होता है कि बरसाती पानी व्यर्थ नालों में बह जाते हैं। ऐसे गांवों में पशुओं के लिए पीने के पानी की भी समस्या है। ऐसे हालात में तालाबों में पानी साल भर रहे इसके लिए सरकार ने इनकी खुदाई की योजना बनाई है।
कुछ नए, कुछ पुराने: पहले चरण में प्रदेश में 1000 तालाब खोदे जाएंगे। एक तालाब की खुदाई पर 10 लाख रुपए खर्च होंगे। योजना के तहत नए तालाब भी खोदे जाएंगे।
दो तरह के तालाब: प्रत्येक गांव में दो तरह के तालाब होंगे। एक में गंदा पानी डाला जाएगा, जबकि दूसरे में बरसाती व नहरी पानी डालने की व्यवस्था होगी। योजना के पहले चरण में कैथल में 50 तालाब खोदे जाएंगे।
साभार - भास्कर न्यूज