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आईबीएन-7, 02 सितंबर 2012
लाखों लोगों को अपना पानी पिलाने वाली तथा दिल्ली की लाइफलाइन यमुना का पानी अब जहर बनता जा रहा है। ताजेवाला से आई यमुना नहर का पानी दक्षिण हरियाणा समेत दिल्ली में पीने के लिए जाता है। लेकिन नहर के आसपास फैली गंदगी इसे प्रदूषित कर रही है। दरअसल ताजेवाला से यमुनानगर के बीच ज्यादा आबादी नहीं है, इसलिए पानी यहां तक साफ रहता है। यमुना नहर के किनारे शहर की कई फैक्ट्रियां हैं जो कैमिकल, कॉपर, स्टील और लकड़ी के काम से जुड़ी हैं। फैक्ट्रियों की सारी गंदगी तो इस नहर में मिल इसे प्रदूषित कर ही रही है, बाकी शहर से निकलने वाला नाला नहर में समाकर इसे और भी ज्यादा प्रदूषित कर रहा है। नहर को गंदगी से बचाने के लिए ट्रीटमेंट प्लांट तो है, लेकिन इसको नहर के साथ नहीं जोड़ा गया है। ऐसे में शहर की सारी गंदगी सीधे नहर में मिल रही है। नहर का पानी पीने से जानवर भी बीमार हो रहे हैं। जानकारों की मानें तो ये पानी धीरे-धीरे जहर का रूप ले चुका है। यमुना को बचाने के लिए सिटिजन जर्नलिस्ट आदित्य शर्मा हरसंभव कोशिश कर रहे हैं।